जालंधरपंजाबराजनीति

जालंधर में BJP की बैठक से माहौल तनावपूर्ण:सर्किट हाउस घेरने पहुंच रहे किसानों को पुलिस ने आधे रास्ते में रोका, भाजपा प्रदेश प्रधान बोले- जब कृषि कानून लागू ही नहीं तो किसान आंदोलन क्यों?

जालंधर के सर्किट हाउस में भाजपा की बैठक को लेकर माहौल तनावपूर्ण हो गया है। इसका पता चलते ही भारतीय किसान यूनियन राजेवाल ने विरोध का ऐलान कर दिया। किसानों को पुलिस ने जालंधर कैंट में दीप नगर में ही आधे रास्ते में रोक लिया। किसान वहीं पर प्रदर्शन कर रहे हैं। वहीं, जालंधर पहुंचे भाजपा के प्रदेश प्रधान अश्विनी शर्मा ने सवाल उठाया कि जब कृषि सुधार कानून लागू ही नहीं हुए तो किसान आंदोलन क्यों कर रहे हैं?। माहौल न बिगड़े, इसके लिए पुलिस ने कड़े सुरक्षा बंदोबस्त किए हैं।

दिनभर चलेगी भाजपा की बैठक, सर्किट हाउस के रास्ते सील

भारतीय जनता पार्टी की राज्य कार्यकारिणी की बैठक हो रही है। ये बैठक दिनभर चलेगी। पहले राज्य कार्यकारिणी की चर्चा के बाद जालंधर व कपूरथला के कार्यकर्ताओं व नेताओं से बैठक होगी। भाजपा के वरिष्ठ नेता मंडल प्रधानों से मिलेंगे। ये बैठक पंजाब में अगले साल होने जा रहे विधानसभा चुनावों के मद्देनजर हो रहे हैं। सर्किट हाउस को आने-जाने वाले सभी रास्ते सील कर दिए गए हैं। हर जगह पर बड़े अफसरों को तैनात किया गया है। मलोट में भाजपा विधायक अरुण नारंग के कपड़े फाड़ने व राजपुरा में भाजपा नेताओं को बंधक बनाने की घटना के बाद पुलिस हाई अलर्ट पर है।

पुलिस के रोकने पर किसानों ने शुरू की नारेबाजी

भाजपा की बैठक का पता चलने के बाद भारतीय किसान यूनियन(राजेवाल) के प्रवक्ता कश्मीर सिंह जंडियाला की अगुवाई में किसान इकट्‌ठा हो गए। वह सर्किट हाउस की तरफ आ रहे थे लेकिन पुलिस ने उन्हें जालंधर कैंट के दीप नगर में मैक्डोनाल्ड के पास रोक लिया। वहां पर भी पुलिस ने भारी बैरिकेडिंग कर रखी है। पुलिस के रोकने के बाद किसानों ने वहीं पर केंद्र सरकार के खिलाफ प्रदर्शन शुरू कर दिया है। वहां अब और किसान इकट्‌ठा होने लगे हैं ताकि प्रदर्शन के लिए सर्किट हाउस पहुंचने की कोशिश की जा सके।

केंद्र से बातचीत क्यों नहीं करते किसान? : अश्विनी शर्मा

भाजपा के पंजाब प्रधान अश्विनी शर्मा ने कहा कि यहां बैठक करने की पार्टी की सामान्य प्रक्रिया है। उन्होंने कहा कि कृषि सुधार कानून लागू नहीं हुए हैं। कानूनों पर रोक लगी हुई है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार कह रही है कि 5 मेंबरी कमेटी बनाकर सहमति बना लेते हैं। फिर किसान बातचीत क्यों नहीं कर रहे?। इसके बावजूद किसान आंदोलन क्यों कर रहे हैं? उन्हें समझ नहीं आ रहा कि यह क्यों किया जा रहा है।

कृषि कानून के चलते किसान कर रहे विरोध
केंद्र सरकार के 3 कृषि सुधार कानूनों के विरोध में दिल्ली बॉर्डर पर किसानों का आंदोलन चल रहा है। इसी वजह से किसान पंजाब में भी भाजपा का विरोध कर रहे हैं। भाजपा की रैली व सार्वजनिक समारोह के अलावा बंद कमरे में होने वाली बैठकों का भी किसान विरोध कर रहे हैं। जालंधर में भी कई बार भाजपा के कार्यक्रम का विरोध हो चुका है। इसके हिंसक होने के बाद मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कड़ा रुख दिखाया था। इसके बाद अब पुलिस पूरी तरह अलर्ट होकर भाजपा के कार्यक्रमों को सुरक्षा मुहैया करा रही है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

You cannot copy content of this page