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आयुष्मान योजना:सही इलाज न मिलने पर 1 माह में करें कंप्लेंट, मरीज का करीबी होना चाहिए शिकायतकर्ता

  • आयुष्मान योजना के तहत शिकायतों के निपटारे को स्टेट ग्रीवेंस रिड्रेसल कमेटी के निर्देश जारी
  • आयुष्मान योजना के अधीन आने वाले अस्पताल देरी से पैसे मिलने पर दें शिकायत
  • आयुष्मान भारत सरबत सेहत बीमा योजना के अधीन स्टेट ग्रीवेंस रिड्रेसल कमेटी ने शिकायतों को लेकर अब नए निर्देश जारी किए है। अगर किसी मरीज को आयुष्मान योजना के अधीन प्राइवेट या सरकारी अस्पताल से सही इलाज नहीं मिलता है तो वे कमेटी को इसकी शिकायत एक महीने के अंदर ही कर सकेगा। इसके अलावा शिकायत करने वाला व्यक्ति मरीज का करीबी ही होना चाहिए।

    जिला सेहत विभाग के अधिकारियों का कहना है कि हम आयुष्मान योजना के अधीन आने वाली शिकायतों का निपटारा समय पर कर रहे है। इसके अलावा जिन शिकायतों का निपटारा जिला स्तर पर नहीं होता, उन्हें ग्रीवेंस कमेटी के पास भेजा जाता है। अधिकारियों का कहना है कि कई बार प्राइवेट अस्पतालों के खिलाफ जो शिकायतें आती है, उनमें कई फर्जी लोग भी मिल रहे है, जो खुद को मरीज का करीबी बताते है। जब मामले की जांच की जाती है तो यह बात सामने आती है कि मरीज को शिकायत के बारे में पता ही नहीं होता है।

    स्टेट कमेटी ने सभी अस्पतालों को 1 माह के भीतर बिल को लेकर याचिका दायर करने के दिए निर्देश

    आयुष्मान योजना के अधीन आने वाले प्राइवेट अस्पतालों द्वारा भी योजना के तहत आने वाले पैसों की देरी को लेकर शिकायतें पोर्टल पर रजिस्टर्ड की जा रही है। स्टेट कमेटी ने अब सभी अस्पतालों को निर्देश जारी कर दिए हैं कि अगर कोई अस्पताल अपने बिल को लेकर कमेटी के पास याचिका दायर करना चाहता है, तो उसके लिए ज्यादा से ज्यादा समय एक महीने का ही रखा गया है। इसमें सभी सरकारी व प्राइवेट अस्पताल अपनी लेट पेमेंट और अन्य किसी भी प्रकार की समस्या की शिकायत दे सकता है।

    कई बार समाजसेवी खुद ही शिकायतकर्ता बन जाते है, लेकिन जांच में कुछ भी नहीं निकलता है

    आयुष्मान भारत सरबत सेहत बीमा योजना की मॉनिर्टिंग अफसर डिप्टी मेडिकल कमिश्नर डॉ. ज्योति शर्मा ने कहा कि कई मामलों में मरीज के परिजनों के अलावा एेसे लोग भी अस्पताल के खिलाफ शिकायत देते है जो मरीज के करीबियों में से नहीं होते। जब उन्हें जांच में शामिल होने के लिए बुलाया जाता है, तो वे जांच में शामिल ही नहीं होते है। जिसके बाद शिकायत को खारिज कर दिया जाता है। इसके अलावा खुद को समाजसेवी कहने वाले लोग शिकायत के बाद खुद अस्पताल से मिलकर राजीनामा कर लेते है।

    104 पर करें कंप्लेंट

    जिला सेहत विभाग के अधिकारियों ने कहा कि अगर किसी भी मरीज को आयुष्मान योजना के अधीन कोई समस्या आती है या इलाज के दौरान किसी प्रकार की लापरवाही होती है तो मरीज के परिजन हेल्पलाइन नंबर 104 पर शिकायत कर सकते है।

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