चंडीगढ़जालंधरपंजाबराष्ट्रीयलुधियानाहोशियारपुर

खुशखबरी! एक दिन में 50 पर्सेंट गिरे टमाटर के रेट, मंडियो में बढ़ी 4 गुना आवक – सब्जी का जायका फिर से होगा स्वाद, टमाटर की कीमतें धराशाही…

जालंधर : मौसम फसलों के अनुकूल रहने से सब्जियों की बंपर पैदावार होती है। वर्षभर में जून से अगस्त माह में लोकल सब्जियों की आमद बंद होने के कारण सभी सब्जी मंडियां पहाड़ी राज्यों पर निर्भर रहती है।

Tomato Price Relief: बीते डेढ महीने से आसमां पर पहुंचे सब्जी का जायका बढ़ाने वाले टमाटर के दाम अब नीचे गिरना शुरू हो गए हैं। शहर की सबसे बड़ी थोक नई सब्जी मंडी मकसूदा में टमाटर की कीमत शुक्रवार को 40 से 55 रुपए के करीब रही। वहीं फुटकर बाजार में भी दाम 80 से 90 रुपए प्रतिकिलो के आसपास रहे। इससे महिलाओं ने राहत की सांस ली है। हालांकि पॉश क्षेत्रों में दाम 90 – 100 रुपए प्रतिकिलो के पार रहे। शहर के थोक टमाटर कारोबारियों के मुताबिक आवक बढ़ने से आगामी दिनों में कीमतें ओर कम होगी।

आवक में इजाफा

 फल व सब्जी थोक विक्रेता किशन लाल,ओम प्रकाश,मनीष भांबरी,दविंदर गिरिधर,परवेश कुमार,कमल ने बताया कि मंडी में धीरे—धीरे कुछ राज्यों से आवक अधिक होने लगी है। इससे कीमतों में कमी आई है। त्योहारी सीजन में आमजन को टमाटर की कीमतों में कमी से राहत मिलेगी। साथ ही अन्य सीजनेबल सब्जियों के दाम भी कम होंगे व घरेलु आवक भी बढ़ेगी।

मुनाफाखोरी भी होगी खत्म

मकसूदां मंडी के टमाटर के आढ़तिओं अनुसार लगातार कीमतों में उछाल था। बीते तीन चार दिन से कीमतें कम होना शुरू हो गई है। मंडी में थोक की टमाटर की कीमत 45 से 55 रुपए प्रतिकिलो के आसपास है। मुनाफाखोरी भी अब खत्म होगी। नासिक से टमाटर की आवक होना शुरू हो गई है। अब औरगंबाबाद, महाराष्ट्र, बेंगलुरु, आंध्रप्रदेश से पूरी तरह से टमाटर की आवक 20 अगस्त के आसपास होना शुरू हो जाएगी। इससे दाम 40 रुपए प्रतिकिलो तक के आसपास रहने के आसार हैं। तेज गर्मी के बाद तेज बारिश से फसलें खराब,पैदावार कम होेने से दाम बढ़े थे। सितंबर के बाद से बस्सी, तूंगा, चौमूं से टमाटर की आवक शुरू होगी।भिंडी, करेला, नींबू, टिंडे से लेकर फली,शिमला मिर्च,कद्दू, गोभी, बैंगन, ब्रोकली, हरा धनिया, मिर्च के दाम भी आमजन की जेब के मुताबिक कम होने शुरू हो चुके है मंडी में प्याज थोक में 20 से 27 रूपये प्रतिकिलो,शिमला मिर्च 40-45 रूपये प्रतिकिलो सहित काफी हरी सब्जियों के भाव गत सप्ताह से 40 फीसदी तक गिर चुके है। सितंबर के पहले सप्ताह में महानगर के आसपास से घरेलु आवक की सब्जियां भी आना शुरू होगी। वर्तमान समय में सब्जियां महंगी होने की वजह दूसरे राज्य से आना है।

तीन कृषि उपज बाजार समितियों-पिंपलगांव, नासिक और लासलगांव में टमाटर की कुल दैनिक आवक भी लगभग एक सप्ताह पहले 6,800 बक्से से बढ़कर गुरुवार को 25,000 बक्से हो गई।

नई फसल ने गिराई कीमतें

मंडी कारोबारियों अनुसार, ‘नई फसल का आगमन बढ़ रहा है। यही थोक कीमतों में गिरावट का कारण है।’ इस बार टमाटर के तेज तेवर ने पिछले सभी रिकार्ड तोड़ दिए व मौसम खराबी के चलते पहाड़ी टमाटर 3 से 5 हजार रूपये प्रति क्रेट (25) किलो तक में बिक गया व अब नासिक व कर्नाटक के बेंगलुरु के टमाटर की नई फसलें मंडी में पहूंचनी शुरू होते ही टमाटर के भाव 50 फीसदी तक घटे व मंडी में एक हजार से 1250 रूपये प्रति क्रेट (25)किलो में व हिमाचल हिमसोना 700-800 में क्रेट बिके। जिससे महानगर के विभिन्न इलाकों में टमाटर से लदी रेहड़ियां आम देखने को मिली।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

You cannot copy content of this page